शिक्षा में नई अलख जगाने को ।
बच्चों में उत्साह उमंग बढ़ाने को।।
हम शिक्षक हो गए हैं सब तैयार।
आओं करें नई शिक्षा नीति संचार।।
विश्वास बड़ा है अब सबके मन में।
साक्षरता को बढ़ाना है पूरे जग में।।
मिशन प्रेणना के लक्ष्य को करना पूरा।
कैसे दें छोड़ उसे हम अब अधूरा।।
बच्चा पढ़े ये ही है जग का नारा।
होगा दूर तभी तो ये अंधियारा।।
लेकर कसम मन में है ये ठाना।
कर्तव्य अपना सबको है निभाना।
होगा शिक्षित जब जग सारा
नही रहेगा कहीं भी अब अंधियारा।
ज्ञान के मंदिर को हमें सजाना है।
शिक्षा रूपी पर्व हमें मनाना है ।।
बच्चे के बुद्धि के स्तर को समझो।
उसी के अनुसार शिक्षा उनमे भर दो।।
अंजनी अग्रवाल ‘ओजस्वी’
कानपूर, उत्तर प्रदेश