मनुज श्रेष्ठ है Srijan मार्च 12, 2022असंभव को संभव कर दे, प्रयास नहीं निष्फल होगा, मनुज श्रेष्ठ है, इस जग में ये मिथ्या नहीं कथन होगा। ना देख ऊंचाई तू नभ की... Continue Reading
कमजोर नहीं हूं मैं Srijan सितंबर 10, 2021 अबला ना समझ मुझको, कमजोर नहीं हूं मैं, चमकती दामिनी भी हूं, केवल, घटा घनघोर नहीं हूं मैं। मां बनके तुझको पाला, ... Continue Reading
हे प्रभु Srijan मार्च 11, 2021हे प्रभु संसार में सबको बुद्धि ज्ञान दे शांति चारों ओर रहे प्रेम का वरदान दे। आओ मिलकर बांट लें सबकी खुशियां सबके गम मानव मानव एक ... Continue Reading
बदलाव जरूरी है Srijan जनवरी 23, 2021 ये मानती हूँ मैं कि बदलाव जरूरी है, ठहरा हुआ पानी सड़ जाता है लेकिन क्या भावनाओं का बहाव भी जरूरी है? इंसान अब इंसान को कुछ मानता नही... Continue Reading
नारी हूँ मजबूर नही मै Srijan अक्टूबर 10, 2020 नारी हूँ मजबूर नही मै, दुनिया को ये दिखला दूँगी, मुझसे ही अस्तित्व मनुज का, न समझ सका तो समझा दूँगी। चुन तिनका-तिनका नीड ... Continue Reading
मेरी उड़ान Srijan सितंबर 03, 2020 कहते हैं सब,लड़की हूँ मैं निर्भर हूँ सबपर,अबला समान, आदर्श नारी बन,पाना सम्मान, सपनों के पंखों की ,रोक उड़ान। अबला... Continue Reading
हो जाती इक बात नई Srijan अगस्त 11, 2020 क्रीड़ाक्षेत्र या जीवन में जब हार-जीत का क्षण भर हो तब करतल-ध्वनि हो जन-मन की तो हो जाती इक बात नई। ... Continue Reading